चैतन्य भारत न्यूज
भारत में कोरोना वायरस के मामलों में लगातार बढ़तरी हो रही है। इसे रोकने के लिए अब देश में वैक्सीन तैयार की जा रही है। इस वैक्सीन की खास बात इसे शरीर के अंदर पहुंचाने का तरीका है। आइए जानते हैं कोरोना वायरस से लड़ने वाली इस वैक्सीन की कई खास बातें-
नाक के जरिए शरीर में डाली जाएगी दवा
हैदराबाद स्थित भारत बायोटेक इस वैक्सीन को विकसित कर रहा है। उन्होंने इसका नाम कोरोफ्लूः वन ड्रॉप कोविड-19 नेसल वैक्सीन रखा है। कोरोना के इलाज के लिए बनाई जा रही यह वैक्सीन किसी इंजेक्शन के जरिए शरीर में नहीं पहुंचाई जाएगी और न ही इसे पोलियो ड्रॉप की तरह पीना होगा। बल्कि इस वैक्सीन की एक बूंद को कोरोना वायरस से पीड़ित इंसान की नाक में डाला जाएगा। वैक्सीन बनाने वाली कंपनी ने दावा किया है कि यह पूरी तरह से सुरक्षित है।
तत्काल फ्लू के खिलाफ लड़ेगी
इस वैक्सीन को बनाने के लिए भारत बायोटेक ने यूनिवर्सिटी ऑफ विस्कॉन्सिन-मैडिसन और फ्लूजेन कंपनी के साथ समझौता किया है। इन तीनों के वैज्ञानिकों मिलकर ये वैक्सीन को विकसित कर रहे हैं। कोरोना से लड़ने वाली यह दवाई एम2एसआर के बेस पर बनाई जा रही है। बता दें एम2एसआर इनफ्लूएंजा बीमारी की एक ताकतवर दवा है। जैसे ही यह दवा शरीर के अंदर जाती है तो तत्काल फ्लू के खिलाफ लड़ने लग जाती है। इसे योशिहिरो कावाओका और गैब्रिएल न्यूमैन ने मिलकर बनाया था। योशिहिरो कावाओका ने इस बार एम2एसआर दवा के अंदर कोरोना वायरस कोविड-19 का जीन सीक्वेंस मिला दिया है।
साल के अंत में होगा ट्रायल
भारत बायोटेक की बिजनेस डेवलपमेंट हेड डॉ. रैशेस एला ने कहा कि, ‘हम भारत में इस वैक्सीन का उत्पादन करेंगे। उनका क्लीनिकल ट्रायल करेंगे। फिर यहीं से 300 मिलियन डोज बनाएंगे।’ इस वैक्सीन का क्लीनिकल ट्रायल अभी बाकी है। इंसानों पर क्लीनिकल ट्रायल 2020 के अंत तक करना शुरू किया जाएगा।