चैतन्य भारत न्यूज
जयपुर. राजस्थान के बाड़मेर में रविवार को रामकथा चल रही थी, इस दौरान तेज बारिश और तूफान के कारण पंडाल गिर गया। इस घटना में 14 लोगों की मौत हो गई, जबकि 50 से अधिक लोग घायल हुए हैं। यह हादसा उस समय हुआ जब पंडाल के नीचे 500 से 700 स्थानीय लोग मौजूद थे और रामकथा चल रही थी।
जानकारी के मुताबिक, रामकथा प्रसिद्ध कथावाचक मुरलीधर कर रहे थे। तभी अचानक से तेज बारिश होना शुरू हो गई। बारिश को देख कथावाचक ने कहा कि, ‘लगता है बारिश तेज है, पंडाल उड़ न जाए।’ इसके बाद उन्होंने श्रोताओं से कहा-‘पंडाल गिर रहा है, बाहर निकल जाओ…’ वह अपनी बात पूरी भी नहीं कर पाए थे कि इतने में पंडाल पहले करीब 20 फीट ऊपर उठा और फिर नीचे गिर गया। यह सब सिर्फ 90 सेकंड में हुआ जिसका लाइव प्रसारण भी चल रहा था। पंडाल गिरने के बाद बिजली के तारों की चपेट में आ गया, जिससे करंट फैल गया। इस दौरान भगदड़ मच गई। सूत्रों के मुताबिक, कई लोगों की मौत दम घुटने और करंट लगने के कारण भी हुई है।
इस हादसे पर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दुख जताया और ट्वीट कर कहा कि, ‘बाड़मेर के जसोल में रामकथा के दौरान पंडाल गिरने से हुए हादसे में बड़ी संख्या में लोगों की जान जाने की जानकारी अत्यंत दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है। ईश्वर से दिवंगतों की आत्मा को शांति प्रदान करने और शोकाकुल परिजनों को सम्बल देने की प्रार्थना है। घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना करता हूं।’ साथ ही सीएम गहलोत ने जांच के आदेश भी दिए हैं। सीएम द्वारा मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपए जबकि घायलों को 2 लाख का मुआवजा दिया जाएगा।