चैतन्य भारत न्यूज
हिंदू धर्म में शरद पूर्णिमा का अपना एक विशेष महत्व है। कहा जाता है कि शरद पूर्णिमा का व्रत रखने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। शरद पूर्णिमा को कोजागरी पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है। इस बार शरद पूर्णिमा 30 अक्टूबर को यानी आज है। इसी तिथि से शरद ऋतु का आरंभ होता है। चंद्रमा इस दिन संपूर्ण, सोलह कलाओं से युक्त होता है। मान्यताओं के मुताबिक इसी दिन मां लक्ष्मी का जन्म हुआ था, इसलिए धन प्राप्ति के लिए भी ये तिथि सबसे उत्तम मानी जाती है। लेकिन व्रत के दौरान कुछ खास नियमों का पालन करना होता है जो इस प्रकार है।
शरद पूर्णिमा पर बरतें ये सावधानियां
- इस दिन पूर्ण रूप से जल और फल ग्रहण करके उपवास रखना चाहिए।
- यदि आप उपवास न रख पाएं तो इस दिन सात्विक आहार ही ग्रहण करें तो ज्यादा बेहतर होगा।
- कहा जाता है कि शरीर के शुद्ध और खाली रहने से आप ज्यादा बेहतर तरीके से अमृत की प्राप्ति कर पाएंगे।
- इस दिन काले रंग का प्रयोग न करें, बल्कि चमकदार सफेद रंग के वस्त्र धारण करना चाहिए।
अच्छे स्वास्थ्य के लिए ये प्रयोग करें
- पूजा के दौरान चंद्रमा के मंत्र “ॐ सोम सोमाय नमः” का जाप करें।
- रात्रि के समय स्नान करके गाय के दूध में घी मिलाकर खीर बनाएं।
- मध्य रात्रि में जब चंद्रमा पूर्ण रूप से उदित हो जाए तब चंद्रदेव की उपासना करें।
- खीर को कांच, मिटटी या चांदी के पात्र में चंद्रमा की रोशनी में रखें और फिर सुबह इसे खाएं और सभी को प्रसाद के रूप में बांट दें।
अपार धन की प्राप्ति के लिए ये प्रयोग करें
- रात्रि के समय मां लक्ष्मी के सामने घी का दीपक जलाएं।
- पूजा के दौरान उन्हें गुलाब के फूलों की माला अर्पित करें।
- सफेद मिठाई और सुगंध भी अर्पित करें।
- इसके बाद मां के मंत्र “ॐ ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद महालक्ष्मये नमः” का कम से कम 11 बार जाप करें।