चैतन्य भारत न्यूज
नई दिल्ली. भाजपा नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद पर कथित यौन शोषण का आरोप लगाने वाली विधि छात्रा के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को उप्र सरकार को आदेश दिया कि छात्रा को पहले कोर्ट के सामने पेश किया जाए। कोर्ट पहले छात्रा की बात सुनेगी और उसके बाद इस संबंध में कोई निर्देश जारी करेगी। इससे पहले लापता छात्रा को उप्र पुलिस ने राजस्थान से बरामद कर लिया था।
गौरतलब है कि वकीलों के एक समूह ने चीफ जस्टिस रंजन गोगई से इस पर संज्ञान लेने और छात्रा से बातचीत करने का आग्रह किया था। वकीलों ने यह भी निवेदन किया था कि जज उससे चैंबर में इस पर चर्चा करें कि वह कैसे लापता हुई थी और उसे किस तरह की धमकियां मिल रही हैं। बता दें इससे पहले प्रदेश के पुलिस महानिदेशक ओपी सिंह ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा था कि, छात्रा के साथ उसके एक साथी को भी पकड़ा गया है और दोनों को यूपी लाया जा रहा है। लेकिन अब छात्रा को यूपी ले जाने से पहले सुप्रीम कोर्ट में पेश किया जाएगा।
शाहजहांपुर के एसएस लॉ कॉलेज की छात्रा 23 अगस्त को अपने हॉस्टल से गायब हो गई थी। बता दें यह कॉलेज चिन्मयानंद का ही है। इसके बाद छात्रा के पिता ने चिन्मयानंद पर अपहरण और जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाकर उनके खिलाफ केस दर्ज कराया था। 24 अगस्त को छात्रा ने एक वीडियो पोस्ट किया था। वीडियो में छात्रा चिन्मयानंद पर शारीरिक शोषण, डराने-धमकाने जैसे और भी कई गंभीर आरोप लगा रही थी। साथ ही छात्रा ने अपने परिवार की जान को खतरा भी बताया था। छात्रा का वीडियो वायरल होने के बाद यह मामला सुर्खियों में आया। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने ट्वीट कर इस मामले के खिलाफ आवाज उठाई है और योगी सरकार पर हमला बोला।
छात्रा के पिता द्वारा शिकायत दर्ज करवाने के बाद चिन्मयानंद के वकील ओम सिंह ने भी अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ केस दर्ज कराया है। ओम सिंह का कहना है कि, ‘फोन पर एक व्यक्ति ने कहा कि उसके पास चिन्मयानंद का अश्लील वीडियो है। साथ ही उस व्यक्ति ने 5 करोड़ रुपए भी मांगे और कहा कि यदि राशि नहीं दी गई तो वीडियो वायरल कर दिया जाएगा।’ हालांकि, अब तक इस मामले में चिन्मयांनद की ओर से कोई बयान नहीं आया है।